अयोध्या फैसले पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बोले- आज का दिन ऐतिहासिक, अब देश निर्माण की बारी
सत्ता विमर्श ब्यूरो
नई दिल्ली : अयोध्या की विवादित जमीन पर सुप्रीम कोर्ट के ऐतिहासिक फैसले के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्र को संबोधित करते हुए कहा, 'आज सुप्रीम कोर्ट ने एक ऐसे महत्वपूर्ण मामले पर फैसला सुनाया है, जिसके पीछे सैकड़ों वर्षों का इतिहास है। कुछ लोगों की इच्छा थी कि रोजाना सुनवाई हो, वैसा हुआ। आज फैसला आया है। दशकों चली न्याय प्रक्रिया का समापन हुआ है। अब हमें आगे ही आगे बढ़ते जाना है। उन्होंने कहा कि राम मंदिर के निर्माण का फैसला सुप्रीम कोर्ट ने दिया है, अब देश के हर नागरिक पर देश निर्माण का दायित्व बढ़ गया है। पीएम ने आज के दिन को ऐतिहासिक बताते हुए कहा कि आज के दिन ही बर्लिन की दीवार गिराकर दो विचारधाराएं एक रास्ते पर आ गईं थीं। आज ही के दिन करतारपुर कॉरिडोर का भी उद्घाटन हुआ है।
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— Narendra Modi (@narendramodi) November 9, 2019
करीब 11 मिनट के अपने संबोधन में प्रधानमंत्री ने कहा, पूरी दुनिया मानती है कि भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतांत्रिक देश है, आज दुनिया ने ये भी जान लिया है कि भारत का लोकतंत्र कितना जीवंत और मजबूत है। फैसला आने के बाद जिस तरह हर वर्ग, हर समुदाय, हर पंथ और पूरे देश ने खुले दिल से इसे स्वीकार किया है, वह भारत की पुरातन संस्कृति, परंपराओं और सद्भाव की भावना को दिखाता है। पीएम मोदी ने कहा, 'भारत जिसके लिए जाना जाता है, और हम गर्व से उल्लेख भी करते हैं, वह है 'विविधता में एकता'। विविधता में एकता का मंत्र अपने पूर्णता के साथ खिला हुआ नजर आता है। हजारों साल बाद भी किसी को 'विविधता में एकता' भारत के इस प्राण तत्व को समझना हो तो वह आज के दिन का जरूर उल्लेख करेगा। यह घटना इतिहास के पन्नों से उठाई हुई नहीं है। सवा सौ करोड़ लोग खुद इतिहास रच रहे हैं।
उन्होंने कहा कि भारत के न्यायपालिका के इतिहास में भी आज का दिन स्वर्णिम अध्याय की तरह है। इस विषय पर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने सबको सुना और बहुत धैर्य से सुना। पूरे देश के लिए खुशी की बात है कि यह फैसला सर्वसम्मति से आया है। एक नागरिक के नाते हम सब जानते हैं कि परिवार में छोटा मसला सुलझाने के लिए भी दिक्कत होती है, ये कार्य सरल नहीं है। सुप्रीम कोर्ट ने इस फैसले के पीछे दृढ़ इच्छा शक्ति के दर्शन कराए हैं। देश के न्यायाधीश, न्यायालय और हमारी न्याय प्रणाली आज विशेष रूप से अभिनंदन के अधिकारी हैं।
पीएम मोदी ने कहा, 'आज 9 नवंबर है। आज के दिन बर्लिन की दीवार गिरी थी। दो विपरीत धाराओं ने एकजुट होकर नया संकल्प लिया था। आज 9 नवंबर को करतारपुर कॉरिडोर की शुरुआत हुई है। इसमें भारत और पाकिस्तान का भी सहयोग रहा है। आज अयोध्या पर फैसले के साथ ही 9 नवंबर की यह तारीख हमें साथ रहकर आगे बढ़ने की सीख भी दे रही है। आज के दिन का संदेश जोड़ने, जुड़ने और मिलकर साथ चलने का है। किसी के मन में कोई कटुता रही हो तो यह उसे खत्म करने का भी दिन है। नए भारत में भय, कटुता और नकारात्मकता का कोई स्थान नहीं है।
प्रधानमंत्री ने कहा, 'सुप्रीम कोर्ट के आज के फैसले ने देश को संदेश दिया है कि कठिन से कठिन मसले का हल कानून के दायरे में आता है। हमें फैसले से सीख लेनी चाहिए कि भले ही समय लगे, लेकिन फिर भी धैर्य बनाकर रखना ही सर्वोत्तम है। हर परिस्थिति में भारत के संविधान, न्यायिक प्रणाली हमारी महान परंपरा है। उस विश्चास अडिग रहे, यह बहुत महत्वपूर्ण है। पीएम ने कहा, 'सुप्रीम कोर्ट का फैसला नया सवेरा लेकर आया है। इस विवाद का भले ही कई पीड़ियों पर असर पड़ा हो, लेकिन इस फैसले के बाद हमें संकल्प करना होगा कि अब नई पीढ़ी अब नए सिरे से न्यू इंडिया के निर्माण में जुटेगी। आइए, अब एक नई शुरुआत करते हैं। नए भारत का निर्माण करते हैं। हमें अपने विकास इस बात से तय करना है कि मेरे साथ चलने वाला कहीं मुझसे पीछे तो नहीं छूट रहा है। हमें सबको साथ लेकर, सबका विकास करते हुए और सबका विश्वास हासिल करते हुए आगे ही बढ़ते जाना है।