मणिपुर में पहली बार बनी भाजपा की सरकार, पुराने कांग्रेसी रहे बिरेन सिंह बने मुख्यमंत्री
सत्ता विमर्श ब्यूरो
इंफाल : असम के बाद देश के एक और उत्तर पूर्वी राज्य मणिपुर में भी भाजपा की सरकार बन गई है। बुधवार को एन. बिरेन सिंह ने मणिपुर में पार्टी के पहले सीएम के तौर पर पद एवं गोपनीयता की शपथ ली। राज्यपाल नजमा हेपतुल्ला ने उन्हें शपथ दिलवाई। बीरेन सिंह के साथ 8 मंत्रियों ने भी शपथ ली। एनपीपी के नेता वाई जयकुमार सिंह को राज्य का डिप्टी सीएम बनाया गया है।
इससे पहले मणिपुर की राज्यपाल नजमा हेपतुल्ला ने कांग्रेस के सबसे बड़ी पार्टी होने के बावजूद भाजपा को राज्य में सरकार बनाने के लिए न्योता दिया था। 21 सीटें जीतने वाली भाजपा ने नेशनल पीपल्स पार्टी (एनपीपी) और नगा पीपल्स फ्रंट (एनपीएफ) के 4-4 और एलजेपी, टीएमसी तथा कांग्रेस के 1-1 विधायकों के समर्थन का दावा किया था।
बीरेन सिंह ने बीते साल अक्टूबर में कांग्रेस सरकार और कांग्रेस पार्टी छोड़कर भाजपा का दामन थाम लिया था। बिरेन सिंह हीनगैंग विधानसभा क्षेत्र से विधायक हैं। वह राज्य में भाजपा के पहले मुख्यमंत्री बने हैं। उन्होंने अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी तृणमूल कांग्रेस के पांगीजम शरतचंद्र सिंह को हराया था। फुटबॉल खिलाड़ी से पत्रकार और फिर राजनेता बने बिरेन सिंह एक समय निवर्तमान मुख्यमंत्री इबोबी सिंह के खास सहयोगी थे।
भाजपा ने कैसे जुटाए आंकड़े?
मणिपुर में विधानसभा की कुल 60 सीटें हैं। हाल ही में हुए चुनाव में कांग्रेस ने सबसे ज्यादा 28 सीटें जीती हैं, वहीं भाजपा को 21 सीटें मिली हैं। ऐसे में किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं मिला। सरकार बनाने के लिए 31 सीटों की दरकार है। भाजपा के उत्तर-पूर्वी राज्यों के प्रभारी राम माधव और हिमंत बिस्व शर्मा ने रविवार को राज्यपाल नजमा हेपतुल्ला के सामने 32 विधायकों के समर्थन का दावा पेश कर दिया था। भाजपा ने कहा उनके पास एनपीएफ और एनपीपी की चार-चार सीटें, लोजपा की एक सीट और एक निर्दलीय का भाजपा को समर्थन है। इस तरह भाजपा ने मणिपुर में हार के बावजूद सरकार बनाने में कामयाबी हासिल की।