'महाराष्ट्र में मध्यावधि चुनाव निश्चित, NCP नहीं देगी भाजपा को समर्थन'
सत्ता विमर्श ब्यूरो
मुम्बई : महाराष्ट्र में फिलहाल जिस तरह के हालात नजर आ रहें हैं उससे स्पष्ट है कि देवेन्द्र फड़णवीस की सरकार खतरे में हैं। शिवसेना के बाद अब राष्ट्रीयवादी कांग्रेस पार्टी ने भी इसके संकेत दिए हैं। पार्टी प्रमुख शरद पवार ने कहा है कि मध्यावधि चुनाव के आसार पूरे हैं और अगर ऐसे हालात बनते हैं तो उनकी पार्टी भाजपा सरकार को नहीं बचाएगी।
पवार ने पत्रकारों से कहा, ‘हम राज्यपाल को इस बात का पत्र देने को तैयार हैं कि यदि शिवसेना देवेंद्र फड़णवीस सरकार से समर्थन वापस लेती है तो एनसीपी उसका समर्थन नहीं करेगी... लेकिन उद्धव ठाकरे को पहले फड़णवीस सरकार से समर्थन वापस लेते हुए राज्यपाल को पत्र देना चाहिए और उस पत्र को सार्वजनिक भी करना चाहिए।’
उद्धव ठाकरे के इस बयान पर कि उन्हें राकंपा की बातों पर विश्वास नहीं हैं। पवार ने कहा कि उन्हें उनसे विश्वास के प्रमाणपत्र की आवश्यकता नहीं है।
नगर निकाय चुनाव के सिलसिले में भाजपा से नाता तोड़ चुके उद्धव ने कहा है कि महाराष्ट्र सरकार में बने रहने के विषय पर वह 23 फरवरी को नगर निकाय चुनाव नतीजे आ जाने के बाद फैसला करेंगे। मराठा क्षत्रप ने कहा कि दो साल पहले उनकी पार्टी ने भाजपा के लिए समर्थन की घोषणा इसलिए की थी कि क्योंकि किसी भी दल को बहुमत नहीं मिला था और राकंपा विधानसभा चुनाव के तत्काल बाद अस्थिरता नहीं चाहती थी।
पवार ने कहा, ‘भाजपा ने पहली बार सरकार बनायी थी और लोगों ने सोचा कि पार्टी को प्रदर्शन का एक मौका दिया जाना चाहिए, लेकिन दो साल बाद लोगों को अहसास हो चुका है कि भाजपा अच्छी नहीं है, सो सरकार का समर्थन करने का सवाल ही नहीं है।’ उन्होंने कहा कि भाजपा का केंद्रीय नेतृत्व शिवसेना को कमजोर करने की साजिश रच रहा है।