चिदम्बरम ने केन्द्र के विकास के दावे का उड़ाया मखौल, बोले- विकास गांडो थयो छे
सत्ता विमर्श ब्यूरो
राजकोट: पूर्व केन्द्रीय मंत्री पी चिदम्बरम ने वर्तमान सरकार द्वारा जारी विमुद्रीकरण को देश को बर्बाद करने वाला बताया है। उन्होंने डिमोनेटाएजेशन की नीति पर तंज कसा। कहा है कि सरकार के इस एक कदम से विकास गांडो थयो छे। यहां चिदम्बरम एक निजी समारोह में उद्योगपतियों और कारोबारियों को संबोधित कर रहे थे। कांग्रेस के इस वरिष्ठ नेता ने सरकार के 6 लाख करोड़ रुपए के भारतमाला परियोजना, बुलेट ट्रेन जैसी परियोजनाओं पर भी सवाल खड़े किए।
अर्थव्यवस्था मजबूत तो बैकों में पूंजीकरण क्यों?
चिदंबरम ने कहा, 'भारत की अर्थव्यवस्था 8.5 फीसदी की दर से विकास कर रही थी।' लेकिन काले धन या सफेद पैसे की तरह कुछ भी नहीं है। नोटों का रंग काला नहीं है यह पुराने लोगों की तरह ही है। उन्होंने प्रश्न किया कि अर्थव्यवस्था अगर मजबूत है तो बैंकों में दोबारा से पूंजीकरण की जरूरत क्यों पड़ रही है। उन्होंने कहा, 'किसी भी उद्देश्य की मौलिकता हासिल नहीं किया गया है। वे किसी भी काले धन को पकड़ नहीं सके हैं। देश में बुलेट ट्रेन की आवश्यकता नहीं है, पहले लोगों को प्राथमिक सुविधा देना जरूरी है।'
नोटबंदी ने किया बर्बाद
नोटबंदी पर चिदम्बरम ने कहा कि मैं यदि वित्त मंत्री होता और मुझे प्रधानमंत्री ने नोट बंदी के लिए कहा होता, तो मैं इस्तीफा दे देता। उन्होंने कहा कि नोटबंदी और जीएसटी ने अर्थव्यवस्था को बर्बाद कर दिया है। अर्थव्यवस्था में साल 2014 के बाद से जबरदस्त गिरावट आई है। डिमोनेटाइजेशन ने छोटे और मध्यम व्यवसायों को तोड़ दिया है इसलिए नई नौकरियां नहीं बनाई जा रही हैं। बड़े व्यवसाय कई नौकरियां नहीं बनाते हैं, यह छोटे और मध्यम व्यवसाय है जो ऐसा करते हैं।
इससे पहले चिदंबरम ने कहा था कि उद्योगों सहित सभी क्षेत्र के लोगों को अर्थव्यवस्था के इस हालात के बारे में खुलकर बोलना चाहिए। उन्होंने कहा-‘हम जब अर्थव्यवस्था के बारे में बोलते थे तो हमसे चुप हो जाने को कहा जाता था। मगर सरकार ने जो घातक रास्ता चुना है उसके बारे में कांग्रेस खुलकर बोलती रहेगी।’
जीएसटी- विचार अच्छा पर...
जीएसटी पर चिदम्बरम ने कहा कि जीएसटी एक अच्छा विचार है, पर कानूनी रूप से खराब है। जीएसटी की दर सामान्य होनी चाहिए। 28 प्रतिशत जीएसटी नहीं होनी चाहिए। लोगों पर अचानक ही बड़े टैक्स का बोझ डालना उचित नहीं है। सरकार कहती है कि चिंता नहीं है, पर रिजर्व बैंक कहती है कि इसमें चिंता है। इसका कोई समाधान नहीं है क्या?
कश्मीर स्वायत्ता मांग रहा है आजादी नहीं
पी.चिदंबरम जम्मू-कश्मीर की स्वायत्तता की मांग को जायज ठहराते हुए कहा है कि कि जम्मू-कश्मीर में क्षेत्रीय स्वायत्तता देने के बारे में विचार करना चाहिए। चिंदबरम के मुताबिक स्वायत्तता देने के बाद भी जम्मू-कश्मीर के लोग भारत का हिस्सा ही रहेंगे। उन्होंने कहा वहां लोग आजादी कहते हैं तो उसका मतलब स्वायत्तता होता है।
कैम्पेन- विकास गांडो थयो छे
गौरतलब है कि कांग्रेस गुजरात विधानसभा चुनावों की तैयारी में काफी समय से जुटी हुई है। उसने विकास गांडो थयो छे नाम से सोशल मीडिया पर कैम्पेन भी शुरू किया था, जिसे काफी लोगों ने पसंद किया। अपने कई हालिया संबोधनों में कांग्रेस उपाध्यक्ष प्रधानमंत्री मोदी के अंदाज में ही लोगों से विकास पर सवाल करते थे और लोग जवाब में विकास गांडो थयो छे यानी विकास पागल हो गया है कहते थे। इस पर पैरोडी भी बनी जो गरबे के दौरान खूब बजाई गई।